रिजर्व बैंक फिर से झटका देने की तैयारी में, बढ़ सकती है बैंक ब्याज की दरें

नईदिल्ली

भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) एक बार फिर से लोगों को झटका दे सकता है. कहा जा रहा है कि अगले महीने होने वाली मॉनिटरी पॉलिसी समिति (MPC) की बैठक में रिजर्व बैंक ब्याज दरों में इजाफा कर सकता है. देश में खुदरा महंगाई दर 6 फीसदी से ऊपर बनी हुई है. अमेरिकी फेडरल रिजर्व समेत अन्य देशों के केंद्रीय बैंकों ने ब्याज दरों को लेकर अपना आक्रामक रुख बरकरार रखा है. ऐसे में रिजर्व बैंक भी रेपो रेट में बढ़ोतरी को जारी रख सकता है. वित्त वर्ष 2023-24 के लिए मॉनिटरी पॉलिसी की पहली बैठक तीन अप्रैल से शुरू होकर छह अप्रैल तक चलेगी.

25 बेसिस प्वाइंट का हो सकता है इजाफा

जानकारों की मानें तो मॉनिटरी की पॉलिसी की बैठक में रेपो रेट में 25 बेसिस प्वाइंट की बढ़ोतरी का फैसला लिया जा सकता है. अप्रैल में होने वाली मॉनिटरी पॉलिसी की बैठक में समिति उच्च खुदरा महंगाई दर और विकसित देशों के केंद्रीय बैंकों, विशेष रूप से यूएस फेडरल रिजर्व, यूरोपीय सेंट्रल बैंक और बैंक ऑफ इंग्लैंड द्वारा उठाए गए कदमों पर विचार करेगी.

लगातार बढ़ी हैं ब्याज दरें

बीते साल मई से अब तक रिजर्व बैंक रेपो रेट में 2.50 फीसदी की बढ़ोतरी कर चुका है. उच्च स्तर पर पहुंची महंगाई दर को काबू में करने के लिए 2022 में ही लगातार पांच बार इसमें इजाफा किया गया था. इसका असर भी दिखाई दिखा था और महंगाई दर नीचे आ गई. लेकिन फरवरी 2023 में केंद्रीय बैंक ने नीतिगत दरों इजाफा किया था.

रेपो रेट में की गई बढ़ोतरी पर नजर दौड़ाएं तो मई 2022 में 0.40 फीसदी, जून 2022 में 0.50 फीसदी, अगस्त 2022 में 0.50 फीसदी, सितंबर 2022 में 0.50 फीसदी और दिसंबर 2022 में 0.35 फीसदी की बढ़ोतरी की गई थी. इसके बाद फरवरी 2023 में फिर से 0.25 फीसदी का इजाफा रेपो रेट में हुआ था.

महंगा होगा लोन बढ़ जाएगी EMI

अगर अगली एमपीसी की बैठक में रिजर्व बैंक एक बार फिर रेपो रेट में 0.25 फीसदी या 25 बेसिस प्वाइंट्स का इजाफा करता है, तो ये बढ़कर 6.75 फीसदी पर पहुंच जाएगा. ये फैसला जनता पर कर्ज का बोझ बढ़ने वाला साबित होगा. रेपो रेट बढ़ने से होम लोन, कार लोन और पर्सनल लोन समेत सभी तरह के कर्ज महंगे हो जाएंगे और ज्यादा EMI भरनी होगी.

आरबीआई का रेपो रेट सीधे तौर पर बैंक लोन को प्रभावित करता है. इसमें कमी आने पर लोन सस्ता हो जाता है और इसमें इजाफा होने के बाद बैंक अपना कर्ज महंगा कर देते हैं. इसका असर होम लोन (Home Loan), ऑटो लोन (Auto Loan), पर्सनल लोन (Personel Loan) सभी पर पड़ता है.

क्या होता है रेपो रेट?

रेपो रेट (Repo Rate) वह दर होती है जिस पर आरबीआई (RBI) बैंकों को कर्ज देता है, जबकि रिवर्स रेपो रेट उस दर को कहते हैं जिस दर पर आरबीआई बैंकों को पैसा रखने पर ब्याज देती है. रेपो रेट के कम होने से लोन की EMI घट जाती है, जबकि रेपो रेट में बढ़ोतरी से सभी तरह के लोन महंगे हो जाते हैं.

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