राहुल गांधी की इफ्तार पार्टी में नहीं दिखा विपक्ष

नई दिल्ली 
देश की राजधानी दिल्ली में कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी के सियासी इफ्तार को लेकर तमाम तरह की चर्चाएं थीं। एक तो यह कि इसमें विपक्षी एकता दिखेगी या नहीं और दूसरी प्रणब मुखर्जी आएंगे या नहीं। संघ के कार्यक्रम में जाने के बाद पूर्व राष्ट्रपति को लेकर पार्टी में असहज स्थितियां बनी थीं लेकिन बुधवार को राहुल की इफ्तार में पहुंच प्रणब ने सारी चर्चाओं पर विराम लगा दिया। हालांकि विपक्षी एकता के फ्रंट पर कांग्रेस को झटका लगा है क्योंकि विपक्ष के दिग्गज नेताओं ने राहुल के इफ्तार से दूरी बनाए रखी।  
 

बताया जा रहा था कि राहुल गांधी के इफ्तार के लिए विपक्ष की टॉप लीडरशिप को न्योता भेजा गया। कांग्रेस के सहयोगी दल इफ्तार में पहुंचे लेकिन पार्टी की फर्स्ट लाइन लीडरशिप की बजाए सेकंड लाइन के नेताओं को भेजा गया। सीपीएम के सीताराम येचुरी और जेएमएम के हेमंत सोरेन को छोड़ दिया जाए तो दूसरे दलों के पार्टी चीफ राहुल गांधी की इफ्तार पार्टी में नहीं पहुंचे। डीएमके की तरफ से कनिमोझी और जेडीयू के निष्कासित नेता शरद यादव इफ्तार में मौजूद रहने वाले दूसरे प्रमुख नेताओं में से एक रहे। 
 
समाजवादी पार्टी की तरफ से कोई भी राहुल गांधी की इफ्तार पार्टी में शामिल नहीं हुआ। वहीं, बीएसपी चीफ मायावती खुद नहीं गई बल्कि राज्य सभा सांसद सतीश मिश्रा ने पार्टी का प्रतिनिधित्व किया। सहयोगी दल के नेता बुधवार शाम को जल्द ही आए गए थे और उन्होंने अलग कमरे में राहुल गांधी से बात की, जहां कम ही लोग मौजूद थे। हालांकि राहुल की इफ्तार में अधिकतर लोगों के दिमाग में यही बात चल रही थी कि पूर्व राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी आएंगे नहीं। 

जल्द ही लोगों की यह उत्सुकता भी समाप्त हुई। पूर्व राष्ट्रपति प्रणब अपने सुरक्षाकर्मियों के साथ पहुंचे। राहुल गांधी प्रणब के लिए काफी सक्रिय दिखाई दिए। प्रणब राहुल के साथ जिस टेबल पर बैठे उसपर पूर्व राष्ट्रपति प्रतिभा पाटील, सीताराम येचुरी और टीएमसी के दिनेश त्रिवेदी भी मौजूद थे। राहुल गांधी और प्रणब मुखर्जी के बीच गपशप भी हुई। 

ताज होटल में हुए इफ्तार में किसी मेहमान ने राहुल गांधी को टोपी भी गिफ्ट की। राहुल ने कुछ पल के लिए उसे पहना, तस्वीरें खिंचवाईं फिर उतार दिया। कांग्रेस की तरफ से दी गई यह इफ्तार पार्टी इस संदर्भ में भी अहम थी कि राहुल गांधी ने हाल के दिनों में मंदिर और मठों की ढेरों यात्राएं की थीं। हालांकि राहुल गांधी हमेशा कहते रहे हैं कि वह मंदिर, मस्जिद, गुरुद्वारा और चर्च जाते रहते हैं। 

राहुल की इफ्तार पार्टी में अन्य सहयोगियों में से जेडीएस के दानिश अली, एनसीपी के डीपी त्रिपाठी और आरजेडी के मनोज झा। पूर्व पीएम मनमोहन सिंह, अहमद पटेल, मल्लिकार्जुन खड़गे, गुलाम नबी आजाद, अशोक गहलोत, पी चिदंबरम, आनंद शर्मा, राजीव शुक्ला के अलावा वर्तमान व पूर्व सांसद, राज्यों के मंत्री भी मौजूद रहे और एक दूसरे से संपर्क करने में व्यस्त दिखे। मशहूर शायर वसीम बरेलवी, ऐक्ट्रेस नफीसा अली भी मौजूद रहीं। पूर्व जेएनयू स्टूडेंट और नरेंद्र मोदी की आलोचक शेहला राशिद भी राहुल की इफ्तार पार्टी में शामिल हुईं। 

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