योगी सरकार ने धान खरीद का नियम बदला, औसत पैदावार के मुकाबले 150% तक बेच सकेंगे

लखनऊ  
अब किसान अपने जिले की औसत पैदावार के सापेक्ष 150 प्रतिशत धान बेच सकेंगे। योगी सरकार ने इसका आदेश जारी कर दिया है। अभी तक वे अपने जिले की उत्पादकता के औसत के मुकाबले 120 फीसदी धान ही बेच पा रहे थे। इससे उन किसानों को लाभ होगा जो औसत से ज्यादा धान उगा रहे हैं। इस संबंध में खाद्य और रसद विभाग ने धान खरीद नीति में संशोधन कर दिया है। धान खरीद के पोर्टल पर संशोधन कर दिया गया है।

धान की उत्पादकता जिलों के हिसाब से तय होती है यानी हर जिले का औसत धान का उत्पादन अलग-अलग होता है। अमूमन एक हेक्टेयर पर 45 से 50 कुंतल धान की उत्पादकता होती है। मगर किसान यदि 120 फीसदी से ज्यादा बेचना चाहता था तो धान खरीद के लिए बना पोर्टल उसे टोकन नहीं देता था। यदि जिले का औसत 50 कुंतल है और किसान ने एक हेक्टेयर पर 75 कुंतल धान उगाया है तो उसे वह बेच सकेगा।
पहले भी किया धान खरीद नीति में संशोधन

सरकार किसानों के हित के लिए धान खरीद नीति में संशोधन कर चुकी है। किसान 100 कुंतल से ज्यादा धान भी बिना सत्यापन बेच पा रहे हैं। वहीं बंटाईदार और कांट्रेक्ट फार्मिंग के जरिए भी धान खरीदा जा रहा है। धान और गन्ने के रकबे का सत्यापन दोनों विभागों के ब्योरों से किया जा रहा है। इस वर्ष धान खरीद के लिए 70 लाख मीट्रिक टन का लक्ष्य रखा गया है।

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