वैज्ञानिकों ने विकसित की इलेक्ट्रॉनिक त्वचा, खुद कर सकती है अपना इलाज
रियाद
वैज्ञानिकों ने एक ऐसी इलेक्ट्रॉनिक स्किन विकसित किया है, जो खुद को महसूस कर सकती है और खुद का इलाज कर सकती है। इसका प्रयोग प्रोस्टेटिक्स, घाव भरने के लिए दवा युक्त पट्टी और पहनावा प्रौद्योगिकी में किया जा सकता है। यह कृत्रिम त्वचा 3,400 फीसदी से अधिक लचीली है, और यह तुरंत अपने मूल रूप में वापस आ जाती है और छूने के प्रति यह संवेदनशील है।
शोधकर्ताओं ने कहा कि इसका निर्माण हाइड्रोजेल और धातु कार्बाइड से किया गया है और यह कई सतहों पर चिपक सकती है। जब इसे टुकड़ों में काटा जाता है तो यह तुरंत जुड़कर खुद की मरम्मत कर लेता है। सऊदी अरब के तुवाल में मौजूद यूनिवर्सिटी ऑफ साइंस एंड टेक्नोलॉजी (केएयूएसटी) के प्रोफेसर हुसम अलशरीफ ने बताया, 'हमारी सामग्री ने पहले के सभी हाइड्रोजेल को पीछे छोड़ दिया है और नई कार्य क्षमताओं का प्रदर्शन किया है।'
शोध के मुख्य लेखक और यूनिवर्सिटी के पोस्टडॉक्टोरल छात्र यिझोऊ झांग ने कहा, 'इस सामग्री की खींचने और जुड़ने की अलग-अलग संवेदनशीलता एक सफल खोज है, जो हाइड्रोजेल की संवेदनशीलता क्षमता में एक नया आयाम जोड़ता है।' यह त्वचा कितनी प्रभावी है इसका परीक्षण चूहों पर किया जा चुका है। वैज्ञानिकों ने दावा किया है कि यह त्वचा छूने और दवाब जैसी अहसासों की जानकारी दिमाग तक पहुंचा सकती है।
वैज्ञानिक इस त्वचा को पूरी तरह से प्रभावी बनाने की दिशा में काफी सफलता पाने में कामयाब रहे हैं। खिचाव, छूने और दवाब के अलावा यह नए किस्म की त्वचा तापमान और नमी जैसे कई अनुभवों को महसूस करने में सक्षम है।